कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने देश में जमकर तबाही मचाई है। पिछले कुछ दिनों में भले ही नए मामलों में थोड़ी कमी देखने को मिली हो, पर मौत के आंकड़े अभी भी डरावने हैं। इस बीच आधार कार्ड या आयुष्मान कार्ड न होना मरीजों के लिए परेशानी का सबब बन रहा है। इस बीच यूनिक आइडेंटिफिकेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने देश के लोगों को बड़ी राहत दी है। UIDAI ने बयान जारी कर कहा है कि आधार न होने की वजह से किसी भी व्यक्ति को इलाज उपलब्ध कराने से इनकार नहीं किया जा सकता। अब आधार कार्ड न होने पर किसी को भी इलाज लिए भटकना नहीं पड़ेगा।
UIDAI ने साफ तौर पर कहा है कि किसी भी व्यक्ति को कोरोना वैक्सीन लगाने, दवा देने, अस्पताल में भर्ती करने या इलाज करने से सिर्फ इसलिए इनकार नहीं किया जा सकता कि उसके पास आधार कार्ड नहीं है। UIDAI ने कहा है कि आधार कार्ड का बहाना करके कोई भी आवश्यक सेवा उपलब्ध कराने से इनकार नहीं किया जाना चाहिए।
देश में Covid-19 की दूसरी लहर के बीच यूआईडीएआई का बयान बड़ी अहमियत रखता है। इन दिनों आधार कार्ड न होने की वजह से कई लोगों अस्पताल में भर्ती नहीं हो पा रहे हैं। कई लोगों के पास आधार कार्ड होता है, पर जल्दी-जल्दी में वो आधार कार्ड लेना भूल जाते हैं और लॉकडाउन में आनन-फानन में आधार कार्ड या बाकी की कागज लाना संभव नहीं हो पाता। ऐसे में कई बार लोगों को सरकारी सेवा नहीं मिल पाती और उन्हें मजबूरन पैसे देकर प्राइवेट अस्पतालों में इलाज कराना पड़ता है। वैक्सीन सेंटर्स से भी कई लोगों को आधार कार्ड न होने के चलते वापस लौटना पड़ रहा है। हालांकि सरकार इस बारे में पहले भी साफ कह चुकी है कि आधार कार्ड न होने पर दूसरे दस्तावेज की मदद से रजिस्ट्रेशन किया जा सकता है।