Deaddiction in MP शिवराज सरकार ने अब नशामुक्ति को आंदोलन बनाने की तैयारी कर ली है।हालांकि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान जानते हैं कि शराबबंदी एकाएक नहीं हो सकती है। इसके लिए समाज को तैयार करना होगा। इसकी शुरुआत उन्होंने रविवार को गांधी जयंती से कर दी है। 11 विभाग मिलकर अभियान चलाएंगे और समाज का नशामुक्ति के लिए जागरुक करेंगे। गौरतलब है कि सरकार ने शराब की नई दुकान नहीं खोलने का निर्णय पहले से लिया हुआ है।
सरकार अवैध नशा कारोबार पर सख्ती करेगी। जनता को जागरूक कर नशे के अभिशाप से प्रदेश को मुक्त कराने के लिए गंभीर प्रयास करेंगे।
प्रधानमंत्री श्री @narendramodi जी के नशामुक्त भारत अभियान में मध्यप्रदेश सबसे बेहतर योगदान देने का काम करेगा: CM#NashaMuktiAbhiyan pic.twitter.com/DOvRvXRRh5
— Chief Minister, MP (@CMMadhyaPradesh) October 2, 2022
नशाबंदी को लेकर काफी समय से मांग उठ रही है। भाजपा की वरिष्ठ नेता और पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती इसको लेकर मुखर रही हैं। वे लगभग डेढ़ साल से इस प्रयास में थीं कि सरकार इस पर कोई ठोस कार्ययोजना बनाए। उन्होंने शराब दुकानों के सामने आंदोलन भी किए।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, प्रदेश भाजपा अध्यक्ष विष्ण दत्त शर्मा से लेकर वरिष्ठ नेताओं से उनकी चर्चा भी हुई। उन्होंने कई बार अभियान चलाने का ऐलान किया पर किसी ने किसी कारण से टलता रहा। इसको लेकर वे कांग्रेस के निशाने पर भी आईं और फिर उन्होंने दो अक्टूबर से नशामुक्ति के लिए अभियान चलाने का ऐलान कर दिया। कई स्थानों पर महिलाओं ने दुकान बंद करने या स्थानांतरित करने को लेकर आंदोलन किए। उधर, मुख्यमंत्री का शुरुआत से ही स्पष्ट पक्ष था कि शराबबंदी कोई विकल्प नहीं है। इसके लिए जागरुकता के माध्यम से पहले समाज को तैयार करना होगा।