Do Not Sale Single Use Plastic: सिंगल यूज प्लास्टिक बेचा तो होगी FIR : भोपाल में हर दिन 80 क्विंटल सिंगल यूज प्लास्टिक निकल रहा है। जबकि इंदौर में इसका आंकड़ा 118 क्विंटल, जबलपुर में 115, सागर में 55, उज्जैन में 105,ग्वालियर में 2 75 और कटनी में 45 क्विंटल है। इसके अलावा रेलवे स्टेशनों पर सबसे ज्यादा सिंगल यूज प्लास्टिक निकलता है।
Do Not Sale Single Use Plastic अब यदि पालीथिन और सिंगल यूज प्लास्टिक कंपनियों द्वारा बाजारों में खपाया जाता है तो उन पर कानूनी कार्रवाई की जाएगी। इतना ही नहीं बाजार में पालीथिन में सामान बेचने और लेने पर कारोबारियों एवं ग्राहकों तक पर एफआईआर दर्ज की जाएगी। दरअसल एक जुलाई से प्रतिबंध लगाए जाने पर भी तीन महीने बाद पालीथिन और सिंगल यूज प्लास्टिक का उपयोग हो रहा है।
प्रदेश के शहरों में हर दिन लगभग तीन हजार क्विंटल प्लास्टिक कचरा निकलता है
ऐसे में कलेक्टर एवं जिला दंडाधिकारी अविनाश लवानिया ने इसका उपयोग करने वालों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की बात कही है। बता दें कि प्रदेश के शहरों में हर दिन लगभग तीन हजार क्विंटल प्लास्टिक कचरा निकलता है। इसमें 50 प्रतिशत से ज्यादा सिंगल यूज प्लास्टिक होता है, जिसमें पालीथिन से लेकर पानी की बोतल शामिल हैं। भोपाल में हर दिन 80 क्विंटल सिंगल यूज प्लास्टिक निकल रहा है। जबकि इंदौर में इसका आंकड़ा 118 क्विंटल, जबलपुर में 115, सागर में 55, उज्जैन में 105,ग्वालियर में 75 क्विंटल है। इसके अलावा रेलवे स्टेशनों पर सबसे ज्यादा सिंगल यूज प्लास्टिक निकलता है।
निगम की यह कार्रवाई अब पूरी तरह से ठप हो गई
पालीथिन एवं सिंगल यूज प्लास्टिक पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगाने के बाद नगर निगम के अमले ने जुर्माना और जब्ती की कार्रवाई शुरू की थी। बताया जा रहा है कि निगम अमला छोटे- बड़े कारोबारियों के यहां दबिश देकर पालीथिन व प्लास्टिक जब्त कर जुर्माना बनाकर वसूली कर लेता है। इसी जुर्माने के लालच के चलते प्रतिबंध की अनदेखी की जा रही है। निगम की यह कार्रवाई अब पूरी तरह से ठप हो गई है। जिसका नतीजा यह है कि शहर के बाजारों में पालीथिन और सिंगल यूज प्लास्टिक का उपयोग किया जा रहा है। बता दें कि शहर में 40 से 50 माइक्रोन की पालीथिन ही धड़ल्ले से बिक रही, ऐसे में निगम 120 माइक्रोन के केरी बेग समेत प्लास्टिक के 19 सामानों को कैसे बंद करेगा।
इनका उत्पादन, परिवहन, बिक्री व उपयोग नहीं कर सकते
सिंगल यूज प्लास्टिक से बने झंडे, प्लेटें, कप, गिलास, कटलरी जैसे कांटे, चम्मच, चाकू, ट्रे, मिठाई के बक्से, निमंत्रण कार्ड, सिगरेट के पैकेट पर लपेटे जाने वाली फिल्म, 100 माइक्रोन से कम मोटाई वाले प्लास्टिक व पीवीसी बैनर, स्टिक, गुब्बारे के लिए बनाई जाने वाली प्लास्टिक स्टिक, कैंडी की प्लास्टिक स्टिक, आइसक्रीम की स्टिक, सजावट के लिए थर्माकोल की सामग्री पर प्रतिबंध लग चुका है। इनका उत्पादन, परिवहन, बिक्री व उपयोग नहीं कर सकते। यदि करते पाए गए तो 50 रुपये से लेकर 50 हजार रुपये तक जुर्माना लग सकता है।