Electric car full battery charging time: दुनिया का फोकस जीरो कार्बन उत्सर्जन की दिशा में बढ़ने को लेकर है. पर्यावरण प्रदूषण (Environmental Pollution) में खतरनाक गैसों (Gas) का बड़ा योगदान होता है. जो पेट्रोल और डीजल से चलने वाली गाड़ियों से आता है. डीजल और पेट्रोल की आसमान छूती कीमतों के बावजूद लोगों का ध्यान इलेक्ट्रिक गाड़ियों पर शिफ्ट होने की तरफ तेजी से नहीं जा रहा है. इसकी एक वजह ये भी हो सकती है कि इलेक्ट्रिक व्हीकल (Electric Vehicle) को लेकर आमजन के मन में सबसे बड़ा डर उसकी चार्जिंग (Car Battery Charging) को लेकर है.
चार्जिंग में कितना वक्त लगता है?
इलेक्ट्रिक कारों को अपनाने की राह में सबसे बड़ा रोड़ा उन्हें चार्ज करने में लगने वाला वक्त है. हालांकि अमेरिका और चीन की कुछ कंपनियों ने इसका तोड़ निकालने का दावा किया है लेकिन भारत में ऐसा होने की पुष्टि पुख्ता तरीके से नहीं हुई है. इलेक्ट्रिक गाड़ियों की चार्जिंग दो तरह से होती है. इसमें एक फास्ट चार्जिंग होती है, जिसमें 60 से 120 मिनट यानी करीब एक से दो घंटे लगते हैं. वहीं स्लो चार्जिंग या अलटरनेट चार्जिंग में बैट्री को फुल चार्ज करने में 6 से 7 घंटे का समय लगता है.
पंप पर डीजल-पेट्रोल लेने से कम वक्त में फुल चार्ज!
पेट्रोल पंप पर अक्सर भीड़-भाड़ के चलते आपको अपनी कार में फ्यूल डलवाने में 10 से 12 मिनट का वक्त तो लग ही जाता होगा. लेकिन इलेक्ट्रिक कारों को इससे भी कम समय में फुल चार्ज करने का दावा कब और किसने किया आइए बताते हैं. बताते चलें कि पिछले साल 2021 चीन की ऑटो कंपनी GAC ने कहा था कि वो अपनी इलेक्ट्रिक एसयूवी (SUV) Aion V EV में 3C और 6C फास्ट चार्जर से चार्ज करने की टेक्नोलॉजी देगी. कंपनी ने ये दावा भी किया था कि उसके 3C चार्जर से Aion V EV को सिर्फ 16 मिनट में 80% तक वहीं 6C चार्जर से सिर्फ 8 मिनट में 80% तक चार्ज किया जा सकता है. यानी 6C चार्जर इस मॉडल को महज 10 मिनट में फुल चार्ज कर देगा. हालांकि तब दुनिया के कुछ ऑटो एक्सपर्ट्स ने इसे चीनी कंपनी की मार्केटिंग रणनीति बताया था.
पेनसिल्वेनिया स्टेट यूनिवर्सिटी का दावा
इससे पहले अमेरिका (US) की पेनसिल्वेनिया स्टेट यूनिवर्सिटी के वैज्ञानिकों ने ऐसी लिथियम-आयन बैटरी विकसित करने का दावा किया था जो 10 मिनट में फुल चार्ज (Car battery charge in 10 minutes) हो जाती थी. तब कहा गया कि बैटरी को बढ़े हुए तापमान में चार्ज करने की तकनीक से ऐसा कर पाना संभव हुआ है. वहीं एक बार फुल चार्ज होने के बाद किसी इलेक्ट्रिक वाहन के 480 किलोमीटर तक चलने की जानकारी साझा की गई थी.