Heart Attack कानपुर में पिछले एक सप्ताह से पड़ रही भीषण ठंड जानलेवा हो गई है।गुरुवार को हार्ट और ब्रेन अटैक से 25 रोगियों की मौत हो गई। 17 हृदय रोगी तो कार्डियोलॉजी की इमरजेंसी तक ही नहीं पहुंच पाए। उन्हें चक्कर आया, बेहोश हुए और खत्म हो गए। यही हाल ब्रेन अटैक से मरने वाले तीन रोगियों के साथ हुआ। उन्हें अचानक बेहोशी आई थी। वैसे सिर्फ कानपुर ही नहीं जहां जहां ठंड का अटेक है वहां इस तरह की घटनाएं हो रही हैं।
यूपी में ठंड लगने से गंभीर हालत में अस्पताल में इलाज करा रहे सात हृदय रोगियों की मौत हो गई। इसके अलावा 15 रोगियों को ब्रॉट डेड हालत में इमरजेंसी लाया गया। जांच में इनकी ईसीजी जांच रिपोर्ट फ्लैट आई। इन्हें मृत घोषित कर दिया गया।
कार्डियोलॉजी के निदेशक प्रोफेसर विनय कृष्णा का कहना है कि शीत लहर में रोगी ठंड से बचाव रखें। समय रहते अस्पताल पहुंच जाएं। वहीं ब्रेन अटैक से जाजमऊ के राजकिशोर (65), लालबंगला के विनोद (61) और कल्याणपुर के विकास (48) की मौत हो गई। उन्हें एंबुलेंस से हैलट लाया गया था।
डॉक्टरों का कहना है कि ठंड में अचानक ब्लड प्रेशर बढ़ने से नसों में खून का थक्का जम जा रहा है, जिससे हार्ट अटैक और ब्रेन अटैक पड़ रहा है। ब्रेन अटैक के जो रोगी अस्पताल पहुंच रहे हैं, उनकी स्थिति गंभीर रहती है। बहुत से रोगियों की मस्तिष्क की नस फट जा रही है। इसके अलावा खून का थक्का जमने से शरीर को लकवा मार जा रहा है। कार्डियोलॉजी इंस्टीट्यूट के कंट्रोल रूम के मुताबिक गुरुवार को इमरजेंसी और ओपीडी में 723 हृदय रोगी आए।