indian railway रेल मंडलों में ट्रेनों की वर्किंग को लेकर विवाद थम नहीं रहे हैं। इंदौर से नईदिल्ली के बीच सप्ताह में तीन दिन चलने वाली नई ट्रेन की शुरुआत 24 अगस्त को इंदौर सांसद शंकर लालवानी ने हरी झंडी दिखाकर की। शुरुआत के चंद घंटों बाद ही ट्रेन में विर्किंग को लेकर विवाद हो गया। रतलाम मंडल से दिल्ली तक जाने वाले चेकिंग स्टाफ को कोटा मंडल के कर्मचारियों ने उतार दिया और विवाद के बाद झूमाझटकी भी हुई। पूरे मामले में अब रतलाम व कोटा मंडल के कर्मचारी संगठन भी आमने-सामने हो गए हैं।
ट्रेन संख्या 20957/20958 इंदौर-नईदिल्ली-इंदौर में इंदौर से नई दिल्ली के बीच रतलाम मंडल के इंदौर मुख्यालय के चेकिंग स्टाफ को वर्किंग दी गई है। वेरेएयू पदाधिकारियों ने बताया कि बुधवार को ट्रेन चलने के बाद कोटा के चेकिंग स्टाफ द्वारा ट्रेन में चल रहे रतलाम मंडल के स्टाफ सीटीआइ मंजीतसिंह, डीसीटीआइ एसएन मीणा, नाथूसिंह के साथ विवाद व झूमाझटकी कर गाड़ी का चार्ट ले लिया व जबरन कोटा से दिल्ली के मध्य वर्किंग की गई। पूरे विवाद का वीडियो भी इंटरनेट मीडिया पर वायरल हो गया।
मंडल के स्टाफ के दुर्व्यवहार की जानकारी मिलने के बाद गुरुवार को वेस्टर्न रेलवे एम्पलाइज यूनियन ने रतलाम मंडल कार्यालय पर प्रदर्शन किया। वेरेएयू के पदाधिकारियों ने मंडल रेल प्रबंधक विनीत गुप्ता व अन्य अधिकारियों से मिलकर विरोध दर्ज कराते हुए कोटा मंडल के स्टाफ पर कार्रवाई व रतलाम मंडल का वर्किंग यथावत रखने की मांग की। यूनियन के महामंत्री जेआर भोंसले ने भी सीसीएम व जीएम से चर्चा की। रतलाम मंडल मंत्री मनोहर बारठ ने ट्रे्न में गए मंजीतसिंह से मोबाइल पर चर्चा कर विश्वास दिलाया कि यूनियन उनके साथ है।